दशहरे पर चांदी की पालकी में नगर भ्रमण पर निकलेंगे राजाधिराज महाकाल


उज्जैन। विजयादशमी पर मंगलवार को राजाधिराज महाकाल चांदी की पालकी में सवार होकर नए शहर में पधारेंगे। महाकाल मंदिर से राजा की सवारी शाम 4 बजे शाही ठाठ बाट के साथ फ्रीगंज के लिए रवाना होगी। अवंतिकानाथ दशहरा मैदान पर शमी वृक्ष का पूजन करेंगे। इसके बाद कलेक्टर शशांक मिश्र द्वारा पालकी का पूजन किया जाएगा। पं. महेश पुजारी ने बताया कि नवरात्र में शक्ति उपासना के बाद विजयादशमी पर राजा, महाराजा सर्वत्र विजय की कामना से शमी वृक्ष का पूजन करते थे। भगवान महाकाल अवंतिका के राजा हैं, लौकिक जगत में वे भी इस परंपरा का निर्वहन करते हैं। दशहरे पर साल में एक बार अवंतिकानाथ शमी वृक्ष के पूजन के लिए दशहरा मैदान जाते हैं। यहां पुजारियों द्वारा भगवान की ओर से शमी पूजन किया जाता है। कलेक्टर भगवान महाकाल की पूजा अर्चना करते हैं। पूजन पश्चात सवारी पुन: मंदिर के लिए रवाना होती है।
80 मंचों से स्वागत, आतिशबाजी करेंगे भक्त
फ्रीगंज आगमन पर भगवान महाकाल का पुष्पवर्षा कर भव्य स्वागत किया जाएगा। महाकाल मंदिर से दशहरा मैदान तक विभिन्न संस्थाओं के करीब 80 मंच लगेंगे। भक्त आतिशबाजी कर खुशियां मनाएंगे। यातायात व्यवस्था के लिए पुलिस बल तैनात रहेगा। महाकाल सेना धर्म प्रकोष्ठ के राष्ट्रीय प्रमुख महेंद्रसिंह बैस बंटी भैया ने प्रशासन से भगवान महाकाल की पालकी की सुरक्षा के लिए फ्रीगंज क्षेत्र में मार्ग पर बैरिकेड लगाने की मांग की है। बैस ने बताया कि फ्रीगंज ब्रिज से माधवनगर हॉस्पिटल तक अनेक संस्थाओं द्वारा पालकी के स्वागत के लिए मंच लगाए जाते हैं। इस मार्ग पर भीड़ भी अत्यधिक रहती है। श्रद्धालु आतिशबाजी भी करते हैं। ऐसे में मांग की जा रही है कि पालकी व साथ चलने वाले पुजारी, पुरोहितों की सुरक्षा के लिए बैरिकेडिंग की जानी चाहिए।


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