मप्र में सत्ता परिवर्तन के बन रहे प्रबल योग


ज्योतिषयों की राय-
- तीन ग्रहों की युति से कमलनाथ पर संकट
- भाजपा बनाएगी समर्थन से सरकार



- राजकुमार सोनी
भोपाल। इन दिनों मध्य प्रदेश की राजनीति में उठा-पटक और अनिश्चितता की स्थिति बनी हुई है क्योंकि ज्योतिरादित्य सिंधिया ने कांग्रेस पार्टी का साथ छोड़कर कमल का दामन थाम लिया है। ऐसे में प्रदेश की कमलनाथ सरकार संकट की घड़ी से गुजर रही है। वैसे कमलनाथ यह दावा कर रहे हैं कि उनके पास बहुमत साबित करने के लिए पर्याप्त संख्या बल है। लेकिन ज्योतिषयों की राय के अनुसार तीन ग्रहों धनु, गुरु व केतु की युति से संकट गहरा गया है।  18 नवंबर 1946 को कानपुर में दोपहर पैदा हुए कमलनाथ की कुंडली मीन लग्न की है। यहां चन्द्रमा सप्तम स्थान में कन्या राशि में विराजमान हैं। संजोग से उनकी पार्टी कांग्रेस का जन्म लग्न भी मीन है और वहां भी चंद्रमा कन्या राशि में बैठा हुआ है। इधर, भाजपा की सरकार बनने पर शिवराज सिंह चौहान, नरोत्तम मिश्रा, वीडी शर्मा, कैलाश विजयवर्गीय, गोपाल भार्गव में से कोई एक मुख्यमंत्री बन सकता है। इसमें शिवराज सिंह चौहान, नरोत्तम मिश्रा के योग प्रबल हैं। 


संकट से निकल पाना कठिन : रामजीवन गुरुजी
ज्योतिषाचार्य पंडित रामजीवन गुरुजी के अनुसार मप्र के मुख्यमंत्री कमलनाथ कांग्रेस के संकटमोचक नेताओं में से हैं, जिन्हें इंदिरा गांधी ने एक समय अपना तीसरा बेटा कह कर मध्य प्रदेश की छिंदवाड़ा लोकसभा क्षेत्र से चुनाव जिताया था। मीन लग्न की कमलनाथ की कुंडली में भाग्य स्थान में बैठे मंगल, बुध, सूर्य और शुक्र ने उन्हें एक लंबा राजनीतिक कैरियर प्रदान किया। मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव में 15 वर्ष बाद जब कॉंग्रेस जीती तो 17 दिसंबर 2018 को शनि में गुरु की दशा छिद्र में चल रहे कमलनाथ को प्रदेश का मुख्यमंत्री बनने का अवसर मिला। लेकिन उनकी कुंडली में शनि हानि भाव (12 वें) घर के स्वामी होकर पंचम स्थान में बैठे हैं और अंतर्दशानाथ गुरु अष्टम भाव में फंसे हैं ऐसे में कमलनाथ के लिए वर्तमान संकट से निकल पाना कठिन है।


कालसर्प बना कारण : डॉ. एचसी जैन
भविष्यवक्ता डॉ. एचसी जैन, ग्वालियर के अनुसार धनु राशि में गुरु व केतु पहले से ही थे। 7 फरवरी से मंगल धनु राशि में आ गया। एक मार्च से इन ग्रहों का विशेष योग बना। 17 मार्च को संसार की कुंडली में पूर्ण रूपेण कालसर्प योग शुरू होगा। शासन व पक्ष-विपक्ष में आरोप-प्रत्यारोप तेजी से बढ़ेंगे। ज्योतिरादित्य सिंधिया के स्टार बुलंदी पर होने से उनके सहयोगी विधायक भाजपा को सपोर्ट करेंगे। कांग्रेस के लिए बहुमत जुटा पाना मुश्किल है। 22 मार्च को मंगल मकर राशि में पहुंचेगा जो भाजपा के समर्थन जुटाकर सरकार बनाने का योग है। 


शनि ढइया बनेगी परेशानी : विनोद पोद्दार
ज्योतिषाचार्य विनोद पोद्दार ने बताया कि 24 जनवरी से शनि के राशि परिवर्तन एवं गुरु-केतु के धनु राशि से युति होने की वजह से एवं सूर्य के कुंभ राशि में आने से मप्र सरकार के लिए 14 फरवरी से समय हानिकारक शुरू हो गया था। चूंकि कांग्रेस व सीएम कमलनाथ की राशि मिथुन है जिस पर शनि की ढइया शुरू हो गई है। ज्योतिष ग्रहों के अनुसार कमलनाथ सरकार बहुमत साबित नहीं कर पाएगी एवं भाजपा समर्थन से प्रदेश में सरकार बनाएगी। जिसमें नरेंद्र सिंह तोमर, वीडी शर्मा व शिवराज सिंह चौहान, कैलाश विजयवर्गीय, गोपाल भार्गव में से किसी एक को पद मिल सकता है। 


15 जनवरी से चल रहा उतार-चढ़ाव : अर्चना सरमंडल
ज्योतिर्विद अर्चना सरमंडल, उज्जैन के अनुसार जनवरी माह से ही मध्यप्रदेश की राजनीति में उथल पुथल मची हुई है क्योंकि 15 जनवरी से सूर्य ने शनि के ग्रह में यानि अपने पुत्र के ग्रह में प्रवेश किया इसके तहत राजनीति में इतना उतार चढ़ाव चल रहा है।


षडाष्टक योग शुभ नहीं : पाठक
ज्योतिषाचार्य डॉ. प्रणयन एम. पाठक, उज्जैन के अनुसार कमलनाथ सरकार के परिवर्तन के आसार लग रहे हैं। मिथुन राशि में राहु, शनि का षडाष्टक योग शुभ नहीं होने के कारण सरकार टिक नहीं पायेगी। 


मसर्थन प्राप्त करने में आएगा संकट: पंडित पीएन भट्ट
ज्योतिषाचार्य पंडित पीएन भट्ट, सागर के अनुसार 19 मार्च को गुरु मकर राशि में प्रवेश करेगा। कांग्रेस सरकार की विजय की संभावना नजर आ रही है यदि अन्य ग्रह सूर्य, शनि व राहु उनके पक्ष में रहे। लेकिन सीएम कमलनाथ को समर्थन प्राप्त करने में भारी संकट व संर्घष का सामना करना पड़ेगा। 
 
राहु गिराएगा कमलनाथ सरकार : पंडित अजय व्यास                         
श्री मातंगी ज्योर्तिविद पंडित अजय व्यास, उज्जैन के अनुसार भारतीय ज्योतिष शास्त्र के अनुसार मध्यप्रदेश विधानसभा कमलनाथ सरकार अल्पमत में होने के कारण निश्चित तौर पर ग्रहों का असर देखा जा रहा है विधानसभा चुनाव ग्रहण के दौरान हुए है। ऐसे में फिर एक बार दिसंबर जनवरी में चंद्र ग्रहण का दौर का आना और पार्टी के अंदर कलह  प्रारंभ हो चुके थे, जिसके परिणाम ज्योतिरादित्य का भारतीय जनता पार्टी में विलय विधायकों के साथ होना भारतीय जनता पार्टी के पक्ष में माना जाएगा। कांग्रेस के लिए चिंता का विषय माना जाएगा। मिथुन राशि का राहु सत्ता परिवर्तन का योग होली का दिन राहु का प्रभाव होना सरकार गिरने का कारण माना जाएगा साथ ही ज्योतिरादित्य के साथ में नरेंद्र सिंह तोमर शिवराज सिंह चौहान इनकी पत्रिकाओं में संगठन की प्रमुख भूमिका के रूप में देखा जाएगा जिसमें नरेंद्र सिंह तोमर को मुख्यमंत्री बनने के योग अधिक बन रहा है । 



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